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संभल हिंसा चार्जशीट: ‘भीड़ जुटाओ, सर्वे रोको’ – सांसद और मस्जिद अध्यक्ष की कॉल्स का पर्दाफाश!

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Ex-HC judge to head Sambhal violence probe panel; file report in two months  | Latest News India - Hindustan Times

क्या है मामला?

24 नवंबर 2024 को संभल की शाही जामा मस्जिद में ASI सर्वे को लेकर भीषण हिंसा हुई थी। भीड़ ने पुलिस पर पथराव किया, जिसमें 5 लोगों की मौत और 30 से अधिक घायल हुए।

अब, पुलिस की 1,000+ पन्नों की चार्जशीट ने इस हिंसा की साजिश से पर्दा उठा दिया है।

चार्जशीट में क्या कहा गया?

पुलिस के मुताबिक:

सांसद का बयान जिसने आग भड़काई

चार्जशीट के अनुसार, सांसद बर्क ने 22 नवंबर को नमाज़ के बाद मस्जिद के बाहर लोगों को संबोधित करते हुए कहा:

यह मस्जिद थी, है और रहेगी। किसी सर्वे की ज़रूरत नहीं। हमें खड़ा होना होगा।

इस भाषण को हिंसा की मुख्य वजह माना गया है।

चार्जशीट में कौन-कौन?

आरोपी भूमिका
जियाउर्रहमान बर्क (MP) मुख्य साजिशकर्ता
जफर अली (मस्जिद अध्यक्ष) भीड़ इकठ्ठा कराने में सहयोग
रिज़वान (इलेक्ट्रीशियन) कॉल्स के जरिए भीड़ बुलाने वाला
सुहैल इकबाल (SP विधायक का बेटा) पूछताछ में नाम आया, लेकिन सबूत नहीं मिलने पर क्लीन चिट दी गई

पुलिस ने क्या पेश किया सबूत के तौर पर?

अदालत में क्या हो रहा है?

घटनाक्रम संक्षेप में

तारीख घटना
22 नवम्बर सांसद की कॉल और भाषण
23 नवम्बर भीड़ जुटाई गई
24 नवम्बर हिंसा भड़की – 5 की मौत, 30 घायल
मार्च 2025 चार्जशीट दाखिल
जून 2025 ट्रायल शुरू

निष्कर्ष: राजनीति, धर्म और साजिश की एक खतरनाक कहानी

इस चार्जशीट ने साफ कर दिया है कि हिंसा अचानक नहीं, बल्कि पूर्व नियोजित थी, जिसमें राजनीतिक नेता और धार्मिक संगठन शामिल थे। पुलिस के पास तकनीकी सबूतों के साथ-साथ प्रत्यक्षदर्शियों की गवाही भी है।

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