कोलकाता में एक लॉ कॉलेज की छात्रा के साथ हुए गैंगरेप की घटना ने पूरे शहर में आक्रोश पैदा कर दिया है, जिसके चलते विरोध प्रदर्शन तेज हो गए हैं।
घटना का विवरण:
- पीड़िता: कोलकाता के एक लॉ कॉलेज की 24 वर्षीय छात्रा।
- घटना का स्थान और समय: साउथ कलकत्ता लॉ कॉलेज परिसर में 25 जून की शाम 7:30 बजे से रात 10:30 बजे के बीच।
- आरोप: पीड़िता का आरोप है कि मुख्य आरोपी, जो कॉलेज का पूर्व छात्र और टीएमसी छात्र नेता बताया जा रहा है, ने शादी का प्रस्ताव ठुकराने के बाद उसे जबरन सुरक्षा गार्ड के कमरे में ले जाकर बलात्कार किया। इस दौरान दो अन्य छात्रों ने घटना का वीडियो बनाया और धमकी दी कि अगर उसने किसी को बताया तो वीडियो वायरल कर देंगे।
- मेडिकल रिपोर्ट: पीड़िता की मेडिकल जांच में गैंगरेप की पुष्टि हुई है। रिपोर्ट में उसके शरीर पर काटने, नाखून से खरोंच और जबरदस्ती किए जाने के कई निशान मिले हैं।
गिरफ्तारियां:
पुलिस ने इस मामले में अब तक चार लोगों को गिरफ्तार किया है:
- मनोजित मिश्रा: मुख्य आरोपी, कॉलेज का पूर्व छात्र और टीएमसी छात्र नेता।
- प्रमित मुखर्जी: आरोपी छात्र।
- जायब अहमद: आरोपी छात्र।
- पिनाकी बनर्जी: कॉलेज का सुरक्षा गार्ड, जिसे अपनी ड्यूटी निभाने में विफल रहने और घटना की जानकारी पुलिस को न देने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है।
विरोध प्रदर्शन और राजनीतिक प्रतिक्रिया:
इस घटना को लेकर पूरे बंगाल में भारी गुस्सा है और विभिन्न छात्र संगठनों और राजनीतिक दलों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिए हैं।
- भाजपा का विरोध: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने इस घटना पर ममता बनर्जी सरकार पर तीखा हमला बोला है और मुख्यमंत्री के इस्तीफे की मांग की है। भाजपा नेताओं ने कोलकाता में जोरदार प्रदर्शन किए, जिसके दौरान केंद्रीय मंत्री और पश्चिम बंगाल भाजपा अध्यक्ष सुकांत मजूमदार सहित कई नेताओं को पुलिस ने हिरासत में ले लिया। भाजपा का आरोप है कि बंगाल में महिलाएं सुरक्षित नहीं हैं और मुख्यमंत्री को इस घटना की जिम्मेदारी लेनी चाहिए।
- वाम मोर्चा का प्रदर्शन: वाम मोर्चा के छात्र संगठनों ने भी कॉलेज के सामने सड़क रोककर विरोध प्रदर्शन किया और न्याय की मांग की।
- अन्य दलों का विरोध: कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दलों ने भी इस घटना की निंदा की है और सरकार पर सवाल उठाए हैं।
- टीएमसी सांसद का बयान: टीएमसी सांसद कल्याण बनर्जी के एक बयान “अगर दोस्त ही रेप करे तो सरकार क्या कर सकती है?” पर भी काफी विवाद हुआ है, जिससे लोगों का गुस्सा और भड़क गया है। टीएमसी ने हालांकि मुख्य आरोपी से दूरी बना ली है।
पुलिस ने मामले की जांच के लिए पांच सदस्यीय विशेष जांच दल (SIT) का गठन किया है। यह घटना पश्चिम बंगाल में महिलाओं की सुरक्षा पर गंभीर सवाल उठा रही है और राजनीतिक गलियारों में भी इसकी गूंज सुनाई दे रही है।